चुकंदर के कुछ बेहतरीन प्रयोग
आयुर्वेद
के अनुसार चुकंदर
का दो -तीन
कतरा सलाद के रूप
में नियमित खाते रहने से शरीर
कई बीमारियों से
लड़ने में सक्षम हो
जाता है। गर्भवती महिलाओं
को इसका जरुर सेवन
जरूर करना चाहिए। गर्भावस्था
के दरम्यान आमतौर पर
खून की कमी की समस्या हो
जाती है, जिसे
एनीमिया या रक्ताल्पता
कहा जाता है। जो
महिलाएं चुकंदर का नियमित
सेवन करती हैं, उन्हें
रक्ताल्पता की समस्या का सामना
नहीं करना पड़ता है। कई बार
बच्चे भी रक्ताल्पता के
शिकार हो जाते
हैं। वे अक्सर बीमार रहने लगते
हैं। ऐसे बच्चे यदि
चुकंदर का जूस पियें
तो लाभकारी रहता है। यह
अमारैन्थ परिवार का एक पादप
सदस्य है। यह कई रूपों में
पैदा होता है। यह एक तरह की
जड़ है। आमतौर पर यह लाल रंग
का होता है। कुछ स्थानों पर
सफेद चुकंदर भी पाए जाते हैं।
इसके पत्ते को शाक के रूप में
प्रयोग किया जाता है।
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चुकंदर के कुछ औषधीय गुण निम्नलिखित हैं:
चुकंदर
एनीमिया को दूर करता
है : एनीमिया के
लिए चुकंदर रामबाण माना जाता
है। चुकंदर में पर्याप्त
मात्रा में आयरन, विटामिन
और मिनरल्स होते हैं, जो
खून को बढ़ाने और उसे साफ करने
का काम भी करते हैं। यही वजह
है कि महिलाओं को
इसे नियमित रूप से खाने की
सलाह दी जाती है।
किडनी में
फायदेमंद : चुकंदर
में गुर्दे (किडनी)
को स्वस्थ एवं साफ
रखने के गुण मौजूद हैं। किडनी
से प्रभावित लोगों को चुकंदर
का रस देना फायदेमंद होता है।
इसमें मौजूद क्लोरीन लीवर और
किडनी को साफ करने में मदद
करता है।
पित्ताशय
के लिए गुणकारी : विभिन्न
शोध में यह पाया गया है कि यह
किडनी के साथ ही पित्ताशय के
लिए भी कारगर है। इसमें मौजूद
पोटेशियम शरीर को प्रतिदिन
पोषण प्रदान करने में मदद करता
है तो वहीं क्लोरीन लीवर और
किडनी को साफ करने में मदद
करता है।
पाचन में
गुणकारी : बच्चों
एवं युवाओं को चुकंदर चबा-चबाकर
खाना चाहिए। इससे दांत और
मसूड़ों को मजबूती मिलती है।
यह पाचन संबंधी समस्याओं को
दूर करने में सहायक होता है।
इसका नियमित सेवन करने से
अपाच्य की समस्या आती ही नहीं
है। चुकंदर में बेटेन नामक
तत्व पाया जाता है।
दरअसल,
आंत और पेट को साफ करने
के लिए शरीर को बेटेन की जरूरत
होती है और चुकंदर में मौजूद
यह तत्व उसकी आपूर्ति करता
है। बढ़ती उम्र के बच्चों को
चुकंदर जरूर खिलाना चाहिए।
इससे उनका शारीरिक सौष्ठव
बेहतर होता है। बच्चों के
चेहरे पर चमक दिखती है।
उल्टी-दस्त
: यदि उल्टी-दस्त
की शिकायत हो तो चुकंदर के रस
में चुटकीभर नमक मिलाकर पिलाना
फायदेमंद रहता है। इससे पेट
में बनने वाली गैस खत्म हो
जाती है। उल्टी बंद होने के
साथ ही दस्त भी नहीं होता है।
पीलिया
में लाभकारी : चुकंदर
पीलिया के मरीजों के लिए
फायदेमंद होता है। पीलिया के
मरीजों को चुकंदर का रस
थोड़ा-थोड़ा दिन
में चार बार देना चाहिए। इस
बात का ध्यान रखें कि एक बार
में एक कप से ज्यादा जूस नहीं
देना चाहिए।
हाइपरटेंशन
: चुकंदर का जूस
हाइपरटेंशन और हृदय संबंधी
समस्याओं से दूर रखता है। इसके
नियमित सेवन करने से चिड़चिड़ापन
दूर हो जाता है।
खासतौर पर स्त्रियों के लिए
यह बहुत लाभकारी होता है।
मासिक
धर्म में लाभकारी : मासिक
धर्म के दौरान महिलाओं को कमर,
पेड़ू दर्द एवं अन्य
शारीरिक दुर्बलता जैसी समस्या
का सामना करना पड़ता है। चुकंदर
का नियमित प्रयोग करते रहने
से मासिक धर्म के दौरान होने
वाला कष्ट नहीं होता है। माहवारी
खुल कर आती है। इस दौरान होने
वाली सुस्ती भी दूर रहती है।
जोड़ों
का दर्द : बढ़ती
उम्र में जोडों के दर्द की एक
बड़ी समस्या सामने आती है।
खासतौर से महिलाओं
में 50
की उम्र पार करते ही
यह बीमारी आम हो जाती है। ऐसी
स्थिति में चुकंदर का नियमित
जूस पीकर इस बड़ी समस्या का
समाधान किया जा सकता है। इससे
दर्द में ही राहत नहीं मिलती
बल्कि हड्डियां भी मजबूत बनती
हैं।
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